सब जगह चोर-डकैतों का कुनबा पसरता जा रहा है। कुछ घोषित चोर हैं तो बहुत सारे अघोषित। पर हैं सारे के सारे शातिर। कुछ मामूली चोर हैं, कुछ लगातार ज्ञान और अनुभवों के आधार पर उच्चावस्था प्राप्त कर महाचोर हो चुके हैं, कई सारे अब डकैतों की श्रेणी में हैं तो इनमें से छंटे-छंटाये तस्कर होने का गौरव पा चुके हैं। इन सब तरह के चोरों से हम सभी लोग