दिखावा त्यागें तभी मिलेगा आत्म आनंद
– डॉ. दीपक आचार्य जिन्दगी भर हम सैकड़ों-हजारों कर्म करते रहते हैं फिर भी बुढ़ापे तक आते-आते न आत्मसंतोष की अनुभूति कर पाते हैं और न ही आनंद की। अधिकांश लोग जिस आनंद को पाने की आकांक्षा रखते हैं उसे मरते दम तक प्राप्त नहीं कर पाते। इनके लिए क्षणिक आनंद का अहसास कराने के बाद फिर जैसे थे वैसे ही हो जाने की स्थितियाँ सामने आ जाती हैं। इंसान