इस पेड़ को नष्ट नहीं कर पाए थे मुगल, इसके बारे में हैं कई ऐसी कहानियां
(जी.एन.एस) ता. 06 इंदौर अपने पितरों की याद में घर-घर पूजा-पाठ शुरू हो गया है, जो 20 सितंबर तक चलेगा। इस दौरान कई लोग पितरों के श्राद्ध और तर्पण कर्म के लिए उज्जैन पहुंच रहे हैं। शास्त्रों के अनुसार श्राद्धपक्ष में पूर्वजों की आत्मा की शांति के लिए पुण्य कर्म आवश्यक है। इसी कड़ी में उज्जैन स्थित सिद्धवट घाट पहुंच रहे हैं। इस घाट पर श्राद्ध और तर्पण करने से