एमपी-एमएलए की सम्पति पर पर्दा जनता के साथ धोखा…!
केंद्रीय प्रत्यक्ष कर बोर्ड ने चुनाव आयोग को एक पत्र लिख कर कहा है कि वह संसद सदस्य और विधायकों के चुनाव में हलफनामा मे दिए गए संपति के ब्योरे की जांच जाहिर न करे। चुनाव आयोग ने प्रत्यक्ष कर बोर्ड को चिठ्ठी लिख कर यह सुझाव माँगा था की सुचना अधिकार कानून के तहत क्या इस प्रकार की जानकारी सार्वजनिक करनी चाहिए या नहीं? जिसके जवाब में प्रत्यक्ष कर