डॉ. वेदप्रताप वैदिक — अटलजी के निधन पर मैं क्या लिखूं, कैसे लिखूं ? अटलजी से मेरा 50-55 साल का संबंध रहा है। वे जब भी इंदौर आते, हमारे घर उनका भोजन पहले से तय होता। मेरे पिताजी और अटलजी, दोनों ही जनसंघ के प्रारंभिक कार्यकर्ता थे। मैं 1965 में पीएच.डी. करने के लिए दिल्ली आ गया और तब से अब तक अटलजी से आत्मीय घनिष्टता ज्यों की त्यों बनी